कब्ज और गैस से राहत: पवनमुक्तासन योगासन के फायदे

आज की व्यस्त और तनावपूर्ण जीवनशैली में कब्ज और गैस जैसी पेट की समस्याएं आम हो गई हैं। अपच, पेट फूलना, सूजन और भूख न लगना जैसी दिक्कतें लोगों को परेशान करती हैं। ऐसे में पवनमुक्तासन योगासन एक सरल और प्रभावी उपाय माना जाता है। आयुष मंत्रालय ने हाल ही में अपने आधिकारिक इंस्टाग्राम पर इस आसन के फायदे बताए हैं।
पवनमुक्तासन योगासन क्या है?
पवनमुक्तासन योगासन संस्कृत के शब्द ‘पवन’ (हवा), ‘मुक्त’ (छोड़ना) और ‘आसन’ (योग मुद्रा) से मिलकर बना है। इसे अंग्रेजी में “विंड रिलीजिंग पोज़” कहा जाता है। इसका मुख्य उद्देश्य शरीर से अतिरिक्त गैस और अपच को बाहर निकालना है।
कब्ज और गैस की समस्या से राहत
इस आसन के दौरान पेट के हिस्से पर दबाव पड़ता है, जिससे आंतों की हल्की मालिश होती है। इससे पाचन तंत्र सक्रिय हो जाता है और गैस आसानी से बाहर निकल जाती है। जिन लोगों को बार-बार पेट फूलने या कब्ज की शिकायत रहती है, उनके लिए पवनमुक्तासन योगासन बेहद फायदेमंद है।
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पाचन और पेट की सेहत में सुधार
जल्दी-जल्दी खाने या तैलीय भोजन से पाचन गड़बड़ा जाता है। इस योगासन से पेट के अंगों जैसे आमाशय, लिवर, आंत और पैंक्रियाज पर हल्का दबाव पड़ता है। इससे खाना सही तरह से पचता है और अपच की समस्या कम होती है।
रीढ़ और पीठ की मांसपेशियों के लिए लाभकारी
आयुष मंत्रालय के अनुसार, जब घुटनों को सीने की ओर खींचा जाता है तो पीठ की मांसपेशियों पर खिंचाव आता है। यह व्यायाम पीठ की मांसपेशियों को मजबूत बनाता है और वहां रक्त संचार को बढ़ाता है। खासकर लंबे समय तक कंप्यूटर पर काम करने वालों के लिए यह आसन लाभकारी है।
महिलाओं के लिए खास फायदे
पवनमुक्तासन योगासन शरीर के कोर मसल्स, कमर और पेल्विक मांसपेशियों को मजबूत करता है। महिलाओं के लिए यह आसन विशेष रूप से फायदेमंद है, क्योंकि यह मासिक धर्म से जुड़ी परेशानियों को कम करने में मदद करता है।
सावधानियां
अगर किसी को हर्निया, सायटिका, गंभीर पीठ दर्द की समस्या है या कोई महिला गर्भवती है, तो उसे यह आसन नहीं करना चाहिए। योग शुरू करने से पहले डॉक्टर या योग विशेषज्ञ से सलाह लेना जरूरी है।
अधिक जानकारी के लिए देखें: आयुष मंत्रालय की आधिकारिक वेबसाइट